महिलाओं की आजीविका में वृद्धि हेतु आय सृजन गतिविधियों पर विशेष ध्यान दिया जाए- नागेश कुमार गुलेरिया(परियोजना निदेशक)…..
‘ जाइका वानिकी परियोजना ‘ एक दिवसीय कार्यशाला संपन्न….
शिमला : पहाड़ी खेती, समाचार( 01, सितंबर )आज ‘ जाइका वानिकी परियोजना ‘ की एक दिवसीय कार्यशाला कृषि सहकारी कर्मचारी प्रशिक्षण संस्थान सांगटी समरहिल में संपन्न हुई । कार्यशाला की अध्यक्षता प्रधान मुख्य अरण्यपाल (वन बल प्रमुख) अजय श्रीवास्तव ने की ।
उन्होने जाइका परियोजना की तारीफ़ करते हुए कहा कि परियोजना के कार्य काबिले तारीफ़ है जो कि क्षमता से अधिक कार्य कर रही है। ग्रामीण लोगों को साथ लेकर वन संरक्षण और उनकी आजीविका में वृद्धि भी कर रही है।
कार्यशाला का आयोजन प्रदेश के 7 जिलों में कार्यरत एसएमएस व एफ़टीयू कोऑर्डिनेटर के लिए किया गया । इस कार्यशाला में इन सभी प्रतिनिधियों ने अपने अपने कार्यक्षेत्र में हो रही गतिविधियों की प्रस्तुति दी व परियोजना में नवनियुक्त एसएमएस ने परियोजना में होने वाले कार्यों की बारिकी से जानकारी प्राप्त की व जमीनी स्तर पर इस परियोजना को कैसे उतारा जाये व आम जनमानस को परियोजना से जोड़ा जाये तथा उनकी आजीविका में वृद्धि हो इत्यादि विषयों पर चर्चा की गई।
हिमाचल में जाइका वानिकी परियोजना के अंतर्गत चलाई जा रही विकासात्मक गतिविधियों की समीक्षा व उनको तीव्र गति से आगे बढ़ाने हेतु भी कार्यशाला में चिन्तन किया गया। इस अवसर पर अतिरिक्त प्रधान मुख्य अरण्यपाल एवम मुख्य परियोजना निदेशक नागेश कुमार गुलेरिया ने कार्यशाला में मौजूद प्रतिनिधियों को संबोधित करते हुए कहा कि समस्त स्टाफ़ को परियोजना का मुख्य उद्देश्य समझना चाहिए व हमारी प्राथमिकता परियोजना को नयी उंचाईयों तक पहुँचना होना चाहिए। उन्होने उपस्थित प्रतिभागियों से आह्वान किया कि स्वयं सहायता समूहों , विशेषकर महिलाओं की आजीविका में वृद्धि हेतु आय सृजन गतिविधियों पर विशेष ध्यान दिया जाए।
उन्होने जडी बूटी सैल के बारे में भी बताते हुए कहा कि परियोजना के माध्यम से जड़ी बूटी का भी संरक्षण किया जा रहा है और जड़ी बूटियों को बढ़ाने के लिए भी लोगों को जागरूक किया जा रहा है। इस अवसर पर अतिरिक्त प्रधान मुख्य अरण्यपाल डा. सुशील कपटा ,परियोजना निदेशक राजेश शर्मा ,जड़ी बूटी सैल के निदेशक डा. आर .सी कंग ,परियोजना सलाहकार डा. लाल सिंह सहित अन्य गणमाण्य व्यक्ति मौजूद रहे।