580 साल बाद लगने जा रहा है ऐसा अजब चंद्रग्रहण: जानें विस्तार से

19 नवंबर को इस साल का आखिरी चंद्र ग्रहण होगा, भारत में नहीं आएगा नजर। ये खंडग्रास ग्रहण होगा इसलिए इसका सूतक भी नहीं लगेगा, पूजा-पाठ आदि किए जा सकेंगे। हिंदी कैलेंडर के मुताबिक 19 नवंबर कार्तिक मास की शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि होगी।
शिमला: पहाड़ी खेती, समाचार,
साल 2021 का आखिरी चंद्र ग्रहण (Lunar Eclipse 2021) 19 नवंबर को लगने जा रहा है। ये शुक्रवार का दिन होगा और हिंदी कैलेंडर के मुताबिक ये कार्तिक मास की शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा तिथि होगी। इस साल का पहला चंद्र ग्रहण 26 मई को लगा था और ये साल का दूसरा और आखिरी चंद्र ग्रहण होगा।
चंद्र ग्रहण पर सूतक नहीं लगेगा
19 नवंबर को लगने जा रहा चंद्र ग्रहण खंडग्रास ग्रहण होगा। ग्रहण के समय चूकी भारत में दिन का समय होगा, इसलिए यह चंद्र ग्रहण उपछाया के तौर पर देश के कुछ ही हिस्सों में बहुत कम समय के लिए नजर आएगा। खंडग्रास होने की वजह से इस चंद्र ग्रहण का सूतक नहीं लगेगा।
ऐसे में पूजा-पाठ आदि किए जा सकेंगे। मंदिरों के कपाट भी खुले रह सकते हैं। आमतौर पर चंद्र ग्रहण होने पर 9 घंटे पहले सूतक काल शुरू हो जाता है। वहीं सूर्य ग्रहण में 12 घंटे पहले सूतक लग जाता है। मान्यताओं के अनुसार सूतक काल में पूजा-पाठ समेत सभी शुभ काम बंद रहते हैं।
करीब 600 साल बाद लगेगा ऐसा चंद्र ग्रहण
भारतीय समय के मुताबिक चंद्र ग्रहण सुबह 11.32 से शुरू होगा और 5.33 मिनट पर खत्म होगा। भारत के कुछ हिस्सों में दोपहर 12.28 से शाम 4.17 तक इसे देखा जा सकता है। दरअसल आंशिक चंद्र ग्रहण होने के बावजूद इस ग्रहण की अवधि काफी लंबी है।
19 नवंबर को चंद्रमा और धरती के बीच ज्यादा दूरी होने के कारण इतनी लंबी अवधि का ये ग्रहण होगा। इतना लंबे समय का आंशिक चंद्र ग्रहण इससे पहले 18 फरवरी 1440 को यानी 580 साल पहले लगा था। वहीं अब इतना लंबा ग्रहण 8 फरवरी 2669 को लगेगा। इस लिहाज से ये ग्रहण अहम है।
भारत में कहा-कहां दिखेगा चंद्र ग्रहण
भारत में आंशिक चंद्र ग्रहण को मणिपुर की राजधानी इंफाल और सीमावर्ती क्षेत्रों में देखा जा सकेगा। अरुणाचल प्रदेश के कुछ इलाकों सहित देश के अन्य पूर्वी सीमांत क्षेत्रों में ये नजर आ सकता है। इसके अलावा दुनिया के अन्य हिस्सों की बात करें तो इसे अमेरिका, उत्तरी यूरोप, पूर्वी एशिया, ऑस्ट्रेलिया और प्रशांत महासागर क्षेत्र में देखा जा सकेगा।
साभार: Lokmat News, सोशल मीडिया नेटवर्क।
About The Author
